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चरचा में सर्राफा व्यापारी पर नकाबपोशों का जानलेवा हमला, लूट की नीयत से दी वारदात को अंजाम – क्षेत्र में बढ़ता नशे का कारोबार बना अपराध की जड़

 


कोरिया। नगर पालिका शिवपुर चरचा के वार्ड क्रमांक 14 स्थित व्हीटीसी कॉलोनी में सोमवार की रात सर्राफा बाजार के संचालक पर लूट की नीयत से किए गए जानलेवा हमले ने पूरे क्षेत्र को हिला दिया है। इस घटना से इलाके में दहशत का माहौल व्याप्त है।


प्राप्त जानकारी के अनुसार, मिश्रा कॉम्प्लेक्स स्थित जोया ज्वेलरी शॉप के संचालक कोची बंगाली प्रतिदिन की तरह रात लगभग 9 बजे दुकान बंद कर अपने घर लौट रहे थे। उसी दौरान तीन नकाबपोश युवक पहले से ही उनके घर के समीप होंकी स्टिक लेकर घात लगाए बैठे थे। जैसे ही व्यापारी रात करीब 9:20 बजे घर के पास पहुंचे, तीनों युवकों ने अचानक उन पर हमला बोल दिया। अचानक हुए हमले से व्यापारी संतुलन खो बैठे और सड़क किनारे नाली में गिर पड़े।


हमलावरों ने लगातार वार करते हुए उन्हें गंभीर रूप से घायल कर दिया, जिससे उनके हाथ और सिर पर गहरी चोटें आईं। इस दौरान व्यापारी ने बचने की कोशिश की, लेकिन आरोपियों ने बेरहमी से मारपीट जारी रखी। बताया जा रहा है कि धनतेरस पर्व के नजदीक होने के कारण व्यापारी ने सोने-चांदी के जेवरों का पर्याप्त स्टॉक घर पर मंगवाया था। संभवतः इसी जानकारी के चलते हमलावरों ने लूट की नीयत से वारदात को अंजाम देने की योजना बनाई थी। व्यापारी की चीख-पुकार सुनकर उनकी पत्नी बाहर निकलीं, तो हमलावरों ने उन पर भी हमला कर दिया। महिला के चिल्लाने की आवाज सुनकर आसपास के लोग मौके पर पहुंचे, जिसके बाद नकाबपोश युवक भाग खड़े हुए। स्थानीय लोगों की सहायता से घायल व्यापारी को तत्काल अस्पताल ले जाया गया, जहां उनकी हालत स्थिर बताई जा रही है।


घटना की सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और घटनास्थल का निरीक्षण किया। हालांकि, हमलावरों का अब तक कोई सुराग नहीं लग पाया है। पुलिस ने अज्ञात तीन नकाबपोश युवकों के विरुद्ध मामला दर्ज कर जांच प्रारंभ कर दी है। स्थानीय नागरिकों का कहना है कि चरचा क्षेत्र में पिछले कुछ समय से अपराधिक घटनाएं लगातार बढ़ती जा रही हैं। नशे का अवैध कारोबार, पुलिस प्रशासन की लापरवाही और रात्रि गश्त की कमी के कारण चोरी, लूटपाट व हमले जैसी घटनाएं आम हो गई हैं। सूत्रों के अनुसार, चरचा क्षेत्र लगातार नशे की आगोश में समा रहा है। खुलेआम गांजा, शराब और मेडिकल नशे की सामग्रियों की बिक्री हो रही है। सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि चरचा थाना और नगर सेना विभाग में 10 वर्षों से अधिक समय से कई कर्मचारी पदस्थ हैं, जिनका अब तक स्थानांतरण नहीं हुआ है। ऐसे अधिकारियों और कर्मचारियों की तैनाती लंबे समय से एक ही क्षेत्र में बने रहने के कारण आपराधिक गतिविधियों को अप्रत्यक्ष रूप से बढ़ावा मिल रहा है। स्थानीय लोगों का कहना है कि अब समय आ गया है जब ऐसे कर्मचारियों को तत्काल दूसरे क्षेत्रों में भेजा जाए, ताकि क्षेत्र में शांति और कानून व्यवस्था पुनः स्थापित हो सके। नागरिकों ने पुलिस प्रशासन से मांग की है कि चरचा क्षेत्र में रात्रि गश्त बढ़ाई जाए, संदिग्ध तत्वों की निगरानी की जाए और नशे के अवैध व्यापार पर तत्काल रोक लगाई जाए। लोगों ने चेतावनी दी है कि यदि शीघ्र ही अपराधों पर अंकुश नहीं लगाया गया तो वे आंदोलन करने को मजबूर होंगे। इस हमले की वारदात ने यह साफ कर दिया है कि चरचा क्षेत्र में बढ़ते नशे और पुलिस प्रशासन की ढिलाई अब सीधे आम नागरिकों की सुरक्षा पर खतरा बन चुकी है। स्थानीय जनता अब ठोस कार्रवाई की उम्मीद कर रही है, ताकि क्षेत्र में फिर से शांति और भरोसा लौट सके।

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