बलरामपुर। बलरामपुर पुलिस ने गौ-वंश तस्करी के मामले में एक और बड़ी सफलता हासिल की है। थाना कोतवाली बलरामपुर की टीम ने झारखंड के दो फरार आरोपियों – कयामुद्दीन अंसारी और हदीश अंसारी, दोनों निवासी ग्राम मानपुर, थाना रंका, जिला गढ़वा – को रामानुजगंज में घेराबंदी कर गिरफ्तार किया।
जानकारी के मुताबिक, बीते 4 मई 2025 को पुलिस ने मुखबिर की सूचना पर 6 बैलों से भरा पिकअप वाहन पकड़ा था। इस दौरान चालक सहित कुछ आरोपी फरार हो गए थे। इस मामले में अब तक कुल 8 आरोपियों की गिरफ्तारी हो चुकी है। इससे पहले 2 जून को 6 आरोपियों को झारखंड के विभिन्न गांवों से गिरफ्तार किया गया था।
गौ-तस्करी प्रकरण में छत्तीसगढ़ कृषिक पशु परिरक्षण अधिनियम, पशु क्रूरता अधिनियम और भारतीय न्याय संहिता की धारा 111 के तहत अपराध दर्ज किया गया है। विवेचना में यह संगठित तस्करी रैकेट सामने आया, जिसमें स्थानीय दलाल ग्रामीणों से मवेशी खरीदकर झारखंड के तस्करों को बेचते थे और फिर इन्हें बूचड़खानों तक पहुंचाया जाता था।
पुलिस ने तकनीकी और मैनुअल जांच के आधार पर सभी स्तर के आरोपियों को चिह्नित किया। इसी कड़ी में 21 अगस्त को रामानुजगंज से दोनों फरार आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया गया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया।
बलरामपुर पुलिस की इस कार्रवाई से गौ-तस्करी के संगठित नेटवर्क को बड़ा झटका लगा है। पुलिस अब भी अन्य संभावित आरोपियों की तलाश में जुटी हुई है।
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